*एसईसीएल के पूर्व ओ एस. स्वपन गोस्वामी के संदिग्ध मौत के पश्चात उनकी पत्नी संध्या गोस्वामी, भूपेंद्र चंदेरिया एवं पटवारी पी. वाकरे ने मिलकर बुना ठगी का ताना बाना और फर्जी दस्तावेज पर बनाया जैन धर्मशाला। सरकंडा चटर्जी गली प. ह. क्रमांक 20 खसरा नंबर 1125/66 के फर्जी दस्तावेज बनाने वाले होंगे गिरफ्तार : तपन गोस्वामी [एडिटर इन चीफ]*
बिलासपुर (23 नवंबर 2024) [तपन गोस्वामी द्वारा] शहर के तीन चर्चित महाठग भूपेंद्र चंदेरिया, संध्या गोस्वामी एवं सरकंडा के पूर्व पटवारी पी. वाकरे। यह तीनों तिकड़ी मिलकर सरकंडा क्षेत्र के कई सरकारी जमीनों, कब्जे की जमीनों के फर्जी दस्तावेज बनाकर उसे करोड़ों में बेचने की जानकारी आ रही है। हमारे न्यूज़ इन्वेस्टिगेशन टीम ने एक ऐसे ही जमीन के फर्जी बा के दस्तावेजी प्रमाण सहित जानकारी एकत्र की है। मामला सरकंडा क्षेत्र के चटर्जी गली का है। काफी समय पहले सरकंडा चटर्जी गली में ठीक सिंधी धर्मशाला के सामने एसईसीएल हेड ऑफिस बिलासपुर में कार्यालय अधीक्षक के पद पर कार्यरत स्वपन गोस्वामी ने एक मकान का निर्माण कर वहां रहने लगे। उस समय उस जमीन के किसी भी तरह के कागजात नहीं थे। और न ही उस जमीन की रजिस्ट्री भी नहीं हुई थी। जमीन के अधिकृत कागजात न रहने के कारण श्री गोस्वामी को विद्युत कनेक्शन नहीं मिल रहा था। परंतु स्वपन गोस्वामी की पत्नी संध्या गोस्वामी तिफरा के विद्युत मंडल में।पदस्थ थी। और इस कारण अपने प्रभाव का इस्तेमाल कर वहां बिजली लगवा ली। एसईसीएल कर्मी स्वपन गोस्वामी रिटायर्ड हुए आर्थिक संपन्नता के बावजूद वह अपनी पत्नी संध्या गोस्वामी के कारण बहुत परेशान रहते थे। और एक दिन उनकी काफी संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। इनकी लाश उसलापुर के पास स्थित अलका वेन्यू के पास पाई गई। स्व गोस्वामी के मौत के रहस्य का खुलासा अभी तक नहीं हो पाया। पति की पति के मृत्यु के पश्चात उनकी पत्नी संध्या गोस्वामी खुलकर ठगी के फील्ड में आ गई। वह कुछ भूमाफिया एवं जमीन दलालों एवं कुछ भ्रष्ट पटवारियों साथ मिलकर जमीनों के फर्जी दस्तावेज बनाकर उसे कई लाखों में बेचने लगे। इसी कड़ी में सरकंडा चटर्जी गली के पटवारी हल्का नंबर 20 खसरा नंबर 1125/66 के फर्जी रजिस्ट्री पत्रक सरकंडा के तत्कालीन पटवारी पी. बाकरे एवं शहर का बदनाम शुदा भू माफिया भूपेंद्र चंदेरिया से मिलकर बनवार कर एक फर्जी जैन सभा का गठन कर उसे 52 लाख रुपए में बेच दी। और खरीदार स्वयं भूपेंद्र चंदेरिया ही है। पूर्व में यह मामला दब गया था परंतु प्रदेश में बीजेपी सरकार के गठन के बाद जमीनों के फर्जी बाढा के फाइलें खुल रही है। और फर्जी बाड़े की जिम्मेदार धड़ाधड़ जेल में घुसरहे हैं। और इस तरह यह भी मामला खुल गया और अब जल्द ही ठगी करने वाले जेल जाएंगे। (ब्यूरो रिपोर्ट जासूसी नजर न्यूज़ नेटवर्क)